फरवरी 2020 में हुए दिल्ली दंगो के दौरान चाँद बाग़ इलाके में भड़की हिंसा के मामले में खालिद सैफी के तथाकथित रूप से मुख्य षड्यंत्रकारियों में से एक होने की बात सामने आई। जिसके बाद दिल्ली पुलिस की क्राइम ब्रांच ने उसे गिरफ्तार किया। 8 जनवरी को शाहीन बाग़ में हुए anti-CAA प्रोटेस्ट में भी इसने भाग लिया था। पुलिस Chargesheet के मुताबिक जाफ़राबाद और चाँद बाग में हुए दंगे दिल्ली में अराजकता फ़ैलाने की एक सोची समझी साज़िश थी। सैफ़ी वही इंसान है जिसने JNU के टुकड़े टुकड़े गैंग के उमर खालिद और आप के सस्पेंडेड councillor ताहिर हुसैन के बीच मुलाकात करवाई थी।
Courtesy: PGurus
सैफी दिल्ली दंगो की एक अहम कड़ी है जिसका कांटेक्ट anti-caa रुख रखने वाले सभी पत्रकारों, नेताओ और अन्य हस्तियों से रहा है । दिल्ली पुलिस ने जाफराबाद दंगो और अंकित शर्मा मर्डर केसों की FIRs में कहा है कि ताहिर हुसैन दिल्ली में हो रहे दंगो के दौरान उमर खालिद और खालिद सैफ़ी के सम्पर्क में था।
वही रेडियो मिर्ची की आरजे सायमा के साथ भी इसे देखा गया। इन मोहतरमा ने अपने रेडियो प्रोग्राम्स के दौरान कई बार भीड़ को प्रोटेस्ट साइट्स पर इकठ्ठा होने की अन्नोउंसमेंट्स की थी।
Today met Purani Jeans wali Sayema at Khureji Protest site. Very charming n Bubbly girl. Ladki keep shining n inspiring. May Allah bless you with the very best. Ameen #TwitterPals #NoToCAA_NPR_NRC @MirchiSayema pic.twitter.com/kG4XasqVQV
— Khalid Saifi (@KSaifi) February 15, 2020
रविश कुमार, राजदीप सरदेसाई, सिद्धार्थ वरदराजन, अभिसार शर्मा, अरफ़ा खानुम, राणा अयूब, नेहा दीक्षित सरीखे पत्रकारों के साथ भी दिल्ली दंगो के इस मास्टरमाइंड के संबंध उजागर हुए। इनके अलावा, कई लेफ्ट, प्रो-जेहादी शिक्षाविदो, JNU और DU के स्टूडेंट लीडर्स भी सैफी के सम्पर्क में थे।
हम ज़ुल्मत के अंधेरों से मुल्क को आज़ाद कराएँगे
तुम चाहे कुछ भी करलो हम हर बार आवाज़ उठाएंगे।#DoJusticeWithTabrez pic.twitter.com/09S4ipKZs6— Khalid Saifi (@KSaifi) September 12, 2019
It’s great meeting @svaradarajan founder of @thewire_in what a brave man. pic.twitter.com/BaHd5ZSmru
— Khalid Saifi (@KSaifi) February 28, 2019
Met @RanaAyyub and her lovely family at her home in Mumbai. Very humble and loveable people. Had delicious dinner with them. @UmarKhalidJNU pic.twitter.com/NPvpkEsxkV
— Khalid Saifi (@KSaifi) January 21, 2019
It was a great pleasure meeting and exchanging thoughts with @abhisar_sharma @khanumarfa @mehartweets @sanjukta @sardesairajdeep pic.twitter.com/C3BsvsuVg7
— Khalid Saifi (@KSaifi) January 19, 2019
सैफी United Against Hate नाम की संस्था का संस्थापक है। हालाँकि इसकी संस्था का काम उसके नाम से ठीक उल्टा है। ये वही संस्था है जिसने anti-CAA प्रोटेस्ट को पूरे देश भर में चलाया था। दिल्ली दंगो पर पार्लियामेंट की एक डिबेट में गृह मंत्री अमित शाह ने भी इस संस्था का उल्लेख किया था। इससे पहले भी सैफी को दिल्ली पुलिस ने 26 फरवरी को anti-CAA प्रोटेस्ट के चलते खजूरी ख़ास से गिरफ्तार किया था। एजेंसियों का मानना है कि सैफ़ी की संस्था का इस्तेमाल इस्लामिक देशों से फंड्स लेकर भारत में विरोध प्रदर्शन करवाने के लिए किया जाता था। केरला और तमिलनाडु के प्रो-जिहादी संस्थाओं से इसका नाता रहा है। पत्रकारों, शिक्षाविदों और advocates के साथ सैफ़ी के मनी रूटिंग लिंक्स की भी पड़ताल की जा रही है। एजेंसियों के अनुसार, सैफ़ी Popular Front of India (PFI) जैसी देश विरोधी गतिविधियों में संलिप्त संगठन का भी हिस्सा रहा है। PFI का अक्सर प्रतिबंधित संगठन SIMI और आतंकवादी संगठन ISIS के साथ लिंक्स होने की बात भी सामने आती रही है। लव जिहाद, पोलिटिकल किलिंग्स में PFI का हाथ रहा है। जनवरी में उत्तर प्रदेश में हुए anti-caa विरोध प्रदर्शन में भी PFI का रोल रहा है, जिसके चलते उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने गृह मंत्रालय से इस पर प्रतिबन्ध लगाने की मांग भी की थी।